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चीन की नज़र भारत के सोने के भण्डारो पर : Indian Defence


चीन की नज़र भारत के सोने के भण्डारो पर 


भारत चीन के साथ 3488 किलोमीटर लंबी बॉर्डर लाइन को शेयर करता है जिसे मैक मोहन लाइन के नाम से भी जाना जाता है।  भारत की इंडो -तिब्बित बॉर्डर पुलिस एवं स्पेशल फ्रंटियर फोर्सेज देश की इन् सीमाओं की रक्षा करती है. 
                                     
                                   

चीन हमेशा से ही अपनी विस्तार वादी नीतियों के कारण भारत के सीमावर्ती क्षेत्रों को पर कब्ज़ा करने का प्रयास करता रहता है. हाल ही में चीन ने  भारत के अरुणाचल प्रदेश के सीमावर्ती क्षेत्र में बड़े स्तर पर खनन का काम शुरू किया है।  जिसके पीछे का प्रमुख कारण अरुणाचल प्रदेश की खनिज सम्पदा को हासिल करना है  जिसमें सोने, चांदी मुख्य खनिज की भारी मात्रा में होना है। पिछले 4 सालो से चीन का ध्यान विशेष रूप से इस क्षेत्र में बहुत ज्यादा बढ़ गया है. इसका प्रमुख कारण अरुणाचल प्रदेश में सोने के विशाल भंडार का होना बताया जाता है।    
                                  

चीन की इस हरकत के जवाब  में भारत सरकार ने जियोलाजिकल सर्वे ऑफ़ इंडिया की टीम को सोने और चाँदी के खनिज भण्डारो का पता लगाने के लिए भेजा है.
एक अनुमान के अनुसार इस क्षेत्र में लगभग 50 - 70 अरब डॉलर के सोने और चाँदी के हो सकते है। हाल की कुछ सालो में भारतीय सेना का भारी संख्या में डिप्लॉयमेंट होने के कारण चीनकुछ भी खुलकर करने से डरता है क्योंकि इस क्षेत्र मे भारत स्ट्रैटेजीकली एक बेहतर स्थिति  है जो चीन की किसी भी हरकत का माकूल जवाब देने मे पूरी तरह से तैयार है।

 जय हिन्द 





https://en.wikipedia.org/wiki/Indian_Army
https://idrw.org/

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